दुनियाभर के वैज्ञानिकों और शोधकर्ताओं के लिए मिस्ट्री बने ब्लैक की पहली तस्वीर आज यानी बुधवार को जारी की गई। यह तस्वीरें भारतीय समयानुसार शाम को 6 बजे जारी की गईं। तस्वीरें जारी करते हुए गोथ यूनिवर्सिटी फ्रैंकफर्ट की लुसिआनो रेजोला ने कहा कि बेहद साधारण भाषा में कहा जाए तो यह ऐसा गड्ढा है, जिसे भरा नहीं जा सकता है।
गौरतलब है कि खगोल शास्त्र में रुचि रखने वाले लोगों के लिए ब्लैक होल की पहली तस्वीर जारी होना बड़ी घटना है, क्योंकि अब तब इसके आकार-प्रकार के बारे में सिर्फ परिकल्पना ही की गई है। दुनिया के छह जगहों पर वैज्ञानिक प्रेस कॉन्फ्रेंस कर ब्लैक होल की असली तस्वीर जारी करेंगे। इसके लिए दुनिया के 6 देशों हवाई, एरिजोना, स्पेन, मेक्सिको, चिलि और दक्षिणी ध्रुव में Event Horizon Telescope लगाया गया था। इसका निर्माण खासतौर पर ब्लैक होल की तस्वीर लेने के लिए ही किया गया था।
उल्लेखनीय है कि सामान्य सापेक्षता के सिद्धांत के अनुसार, ब्लैक होल ऐसी खगोलीय वस्तु होती है जिसका गुरुत्वाकर्षण क्षेत्र इतना शक्तिशाली होता है कि प्रकाश सहित कुछ भी इसके खिंचाव से बच नहीं सकता। इसे ब्लैक होल इसलिए कहा जाता है क्योंकि यह अपने ऊपर पड़ने वाले सारे प्रकाश को अवशोषित कर लेता है और कुछ भी रिफ्लेक्ट (प्रतिबिंबित) नहीं करता।
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